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लक्ष्य तक या सिद्धि तक पहुचने में समस्या To Target Your Aim Found difficulties

MTYV Sadhana Kendra -
Friday 1st of May 2015 09:11:46 AM


लक्ष्य तक या सिद्धि तक पहुचने में समस्या To Target Your Aim Found difficulties  

गुरुदेव,अपने लक्ष्य  तक या सिद्धि तक पहुचने में पति-पत्नी,पुत्र ,स्वजन बाधक है,अवरोधक है,अगर है तो फिर क्या करना चाहिए?,क्योकि यह जीवन तो अकारण गवाना नहीं है,फिर सामाजिकता का भी ध्यान रखना पड़ता है,बड़ी उलझन रहती है,क्या करना चाहिए ?

मीरा के सामने भी यही समस्या आई थी,जो तुम्हारे सामने है,मीरा के परिवार वाले उसके प्रबल शत्रु बन गए थे,क्योकि वह जीवन के उस रास्ते पर कदम रख
रख चुकी थी जो सत्य का रास्ता था,उन्नति का रास्ता था,गिरधर में विसर्जन का रास्ता था,ब्रम्ह से साक्छात्कार का रास्ता था.....
पर ससुर और पति ने उस पर अत्याचारों की दिवार खाड़ी कर दी,उसे जहर का प्याला पिने पर मज़बूर कर दिया...जिससे की उसकी मृत्यु हो जाये, पिटारे में साप भर कर उसके पास भेजे,जिससे की साप के डसने से मीरा की जीवन लीला समाप्त हो जाये,बदनाम किया,प्रताड़ित किया,मानसिक रूप से कष्ट और दुखः देने में कोई कसर नहीं छोड़ी.......
और तब मीरा ने संत तुलसी को पत्र लिखा,की पूरा परिवार मेरे खिलाफ खड़ा है,बदनाम कर रहे है, जो जो अत्याचार नहीं होना चाहिए वे सब जुल्म मुझपर हो रहे है,अब मुझे क्या करना चाहिए ?
और तुलसी ने मीरा के पत्र के जवाब में उत्तर लिखा
"जाके प्रिय न राम वैदेही...
ताजिये ताहि कोटि वैरी सम यद्द्पि परम स्नेही"
और मैं भी तुम्हे यही सलाह दे रहा हूँ,की पलट कर आक्रमण मत करो,गाली का जवाब गाली से मत दो,अत्याचारों का मुकाबला हिम्मत से करो,साहस से करो,दृण निश्चय से करो,क्योकि तुम सत्य के पथ पर हो,सही रास्ते पर हो,वे चाहे कितने ही प्रिय हो,कितने ही स्वजन हो,कितने ही नज़दीक के रिश्तेदार
उनसे किनारा कर एक तरह खड़े हो जाओ,मौन और दृणता सबसे बड़ा उत्तर है,इन परिवार वालो की हठधर्मिता का "हिम्मत" बहुत बड़ा जवाब है,बहुत बड़ा उत्तर है इन कपटी,स्वार्थी परिवार वालो के लिए....
और मैं सत्य और न्याय के लिए तुम्हारे साथ हमेशा खड़ा मिलूंगा....

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